कटिहार गैंग को पांच राज्यों की पुलिस ग्वालियर में तलाश रही

ग्वालियर. एमपी के ग्वालियर में कटिहार गैंग की तलाश में यूपी, एमपी, उत्तरखंड, ओडिशा और दिल्ली की पुलिस ग्वालियर के आसपास के इलाकों में खान छान रहीं है। लगभग 3.500 हजार किमी पीछा करने के बाद भी पुलिस बिहार की कटिहार गैंग को नहीं पकड़ पा रही हे। गैंग का सरगना और सदस्य नट जाति के समुदाय से हैं। इस गिरोह की खासियत है कि मोबाइल फोन नहीं रखते हैं।
घटना से पहले और बाद में मोबाइल पर बात नहीं करते हैं, कटिहार गैंग की यही खूबी पुलिस के लिये चुनौती बनी हुई है। पुलिस को जब तक उनकी लोकेशन मिलती है तो वह एक नयी घटना को अंजाम दे चुके होते हैं। हाल ही में गिरोह ने उत्तराखंड के हरिद्वार में घटना को अंजाम दिया है।ग्वालियर पुलिस लगतार इन बदमाशोंु को घेरने के लिये लगी हुई है। लेकिन हर बार कटिहार गैंग हाथ से फिसल जा रही है।
गिरोह के सदस्य नट समुदाय से हैं
बिहार के कटिहार गैंग में मास्टरमाइंड से लेकर सभी सदस्य नट जाति समुदाय से है। नट जाति एक ऐसा समुदाय है जो काफी टफ लाइफ जीता है। यह जब भी गिरोह बनाते है तो अपने ही समुदाय के सदस्य उसमें चुनते हैं, क्योंकि यह बाहर किसी व्यक्ति पर भरोसा नहीं करते हैं। इनकी टफ लाइफ और व्यवहार उनको और अधिक खूंखार बना देता है।
मोबाइल का उपयोग नहीं करता है गिरोह
पुलिस की टीम एमपी, यूपी, उत्तराखंड, राजस्थान, दिल्ली, ओडिशा और बिहार में इस कटिहार गिरोह की तलाश में लगी है। लेकिन अभी तक गिरोह का एक भी सदस्य भी हाथ में नहीं आया है। यह गिरोह के बारे में ग्वालियर पुलिस को पता चला कि गैंग मोबाइल नहीं रखती है। मोबाइल नहीं रखने की आदत के चलते पुलिस को उनकी लोकेशन नहीं मिल रही है। इस गैंग में किसी के मोबाइल होता भी है तो वह हर 10 दिन में नम्बर बदल देता है। जब भी पुलिस की टीम इनके पास पहुंचती है तो गैंग वहां से निकल चुका होता है।

यहां भी कर चुके हैं वारदातें
बिहार की कटियार गैंग ने 28 अक्टूबर को मध्यप्रदेश के देवास में स्टेट बैंक के बाहर 3 लाख रुपए की लूट को अंजाम दिया था।
बदमाशों ने ओडिशा के बलांगीर जिले में बैंक के पास एक भाई-बहन से 7.5 लाख रुपए से भरा बैग छीना था। वहां बदमाशों ने कट्टा भी दिखाया था।
अब 15 दिन पहले उत्तराखंड के हरियाणा में गैंग के द्वारा बाइक पर सवार होकर बैंक के सामने से लूट की वारदात को अंजाम दिया है।