महाकौशल बना सियासत का केन्द्र
पहली बार मध्यप्रदेश आम चुनाव का केन्द्र महाकौशल बना है। सत्तापक्ष और प्रमुख विपक्षी दल ने इसी प्रांत पर भरोसा जताया है। यहां की 38 विधानसभा सीटें जीत-हार के लिये काफी अहम रहेंगी।
यहां बता दें कि भाजपा ने 32 साल बाद यहां से जबलपुर सांसद राकेश सिंह के रूप में प्रदेश की कमान सौंपी है। वहीं कांग्रेस ने पूरे 40 साल बाद छिंदवाड़ा सांसद कमलनाथ को अवसर दिया है। दोनों ही दिग्गज नेता है। वर्किंग स्टाईल दोनों की गंभीर और काम करने वाली है। पार्टी में सम्मान दोनों नेताओं का किसी से छिपा नहीं है। सर्वमान्य नेता के रूप में दोनों का जाना जाता है। परंतु अब दोनों के हाथ में अपने-अपने दलों को जीत दिलाने का है।
महाकौशल का आम चुनाव में महत्वपूर्ण किरदार है। यहां की 38 सीटें काफी अहम रोल निभायेगी। दोनों ही नेताओं पर इस प्रांत से ज्यादा से ज्यादा सीटें निकलवाने की जिम्मेदारी रहेगी। वैसे तो पूरा प्रदेश महत्वपूर्ण है। परंतु शक्तिप्रदर्शन किसका बेहतर रहता है यह आगामी समय बतायेगा। वैसे सियासत का केन्द्र बनी जीवनदायिनी नर्मदा भी यहां से ही सबसे ज्यादा गुजरती है।