11 महीने बाद टीकरी बॉर्डर खोलने की तैयारी, दिल्ली पुलिस ने सड़क से कीलें-बैरिकेड्स हटाए

नई दिल्ली. दिल्ली-हरियाणा के टीकरी बॉर्डर और दिल्ली-उत्तर प्रदेश से लगे गाजीपुर बॉर्डर पर इमरजेंसी रूट खोलने की तैयारी शुरू हो गई है। दिल्ली पुलिस ने गुरुवार को बताया कि किसानों की सहमति के बाद दोनों सीमाओं पर लगे बैरिकेड्स हटाए जा रहे हैं। पुलिस ने देर शाम यहां जेसीबी से बोल्डर और सीमेंटेड बैरिकेड्स हटाने का काम शुरू कर दिया। पिछले 11 महीनों से चल रहे किसान आंदोलन के कारण ये दोनों महत्वपूर्ण रास्ते बंद हैं। स्थानीय लोग कई महीनों से इसे खोलने की मांग कर रहे है। कोर्ट में भी इसे खोलने को लेकर याचिका लग चुकी है।

आज ट्रैफिक शुरू होने की उम्मीद

गुरुवार को दिल्ली पुलिस ने बॉर्डर पर गाड़ रखीं कीलों को ड्रिल मशीन से उखड़वा दिया साथ ही सड़क के बीच में रखे बड़े-बड़े पत्थरों को क्रेन की मदद से साइड में करवा दिया गया। झज्जर डीसी श्याम लाल पूनिया ने उम्मीद जताई है कि शुक्रवार को दिल्ली से रोहतक की ओर जाने वाले हाईवे पर एक ओर से रास्ता खुल सकता है। दरअसल, 2 दिन पहले 26 अक्टूबर को सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर रास्ता खोलने के लिए बनाई हरियाणा सरकार की हाईपावर कमेटी ने बहादुरगढ़ में किसान प्रतिनिधिमंडल और उद्योगपतियों से बैठक की थी। इसके बाद कमेटी ने टीकरी बॉर्डर का भी दौरा किया था। बैठक में किसानों ने दो टूक कह दिया था कि रास्ता किसानों ने नहीं, बल्कि दिल्ली पुलिस ने बंद कर रखा है। इसके बाद हाईपावर कमेटी ने अपनी बात सरकार के सामने रखी और गुरुवार को रास्ता खोलने के लिए कोशिश शुरू कर दी।

एक ओर से साफ कर दी पूरी सड़क

26 जनवरी को ट्रैक्टर परेड के दौरान दिल्ली में हुई हिंसा के बाद टीकरी बॉर्डर पर दिल्ली पुलिस ने सड़क के बीच में कीलें गाड़ दी थीं। इससे पहले भारी भरकम बैरिकेडिंग भी की गई थी। पुलिस ने किसानों को दिल्ली की सीमा में घुसने से रोकने के लिए सड़क के बीच में बड़े पत्थरों की दीवार और कंटेनर के डिब्बे रख दिए थे। पिछले महीने ही सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली की सीमा पर बंद रास्ते खोलने के संबंध में प्रदेश सरकार से जवाब मांगा था। इसके बाद हरियाणा सरकार ने गृह सचिव राजीव अरोड़ा, डीजीपी पीके अग्रवाल, सीआईडी चीफ आलोक मित्तल के साथ सोनीपत और झज्जर जिले के डीसी और एसपी को शामिल कर हाईपावर कमेटी गठित की थी। कमेटी ने कुछ दिन पहले सोनीपत में सिंघु बॉर्डर पर किसानों से बात करने की कोशिश की थी, लेकिन इस बैठक में किसानों की ओर से कोई शामिल नहीं हुआ था। दो दिन पहले मंगलवार को बहादुरगढ़ में बैठक के दौरान भारतीय किसान यूनियन का प्रतिनिधिमंडल शामिल हुआ। किसानों ने साफ किया था कि रास्ते उन्होंने नहीं, बल्कि दिल्ली पुलिस ने रोक रखे हैं। इसके बाद अधिकारियों ने टीकरी बॉर्डर पर बंद रास्तों का दौरा करने के साथ ही उन्हें खोलने के विकल्प तलाशे थे। गुरुवार शाम दिल्ली पुलिस ने बॉर्डर पर एक तरफ की सड़क से बैरिकेड्स से लेकर तमाम अवरोधक हटाने शुरू कर दिए। संभावना जताई जा रही है कि शुक्रवार से दिल्ली से रोहतक को जाने वाली एक साइड की सड़क खुल सकती है।