CM शिवराज अफसरों से पूछेंगे - चिटफंड कंपनियों के घोटालों में कितनी रिकवरी हुई
धार्मिक यात्रा से लौटने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान नए साल में पहली कलेक्टर-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस करेंगे। यह बैठक 4 जनवरी को होगी, जिसमें मुख्यमंत्री चिटफंड कंपनियों पर कार्रवाई की जानकारी लेंगे। मुख्यमंत्री ने पिछली बैठक में ऐसी कंपनियों को खिलाफ अभियान चलाने के निर्देश दिए थे। मुख्यमंत्री अब कलेक्टर और पुलिस अधीक्षकों से पूछेंगे कि फ्राड करने वाली कंपनियों से कितनी रिकवरी की गई?
मंत्रालय सूत्रों ने बताया कि सागर, छतरपुर, देवास, रतलाम, आगर मालवा और नीमच में अभियान में सफलता मिली है। इसको लेकर मंत्रालय ने सभी जिलों से जानकारी मंगवाना शुरू कर दिया है। दरअसल, मुख्यमंत्री चाहते हैं कि प्रदेश मे जितनी भी चिटफंड कंपनियां घोटालों में लिप्त है, उनके खिलाफ सख्त कार्यवाही करे और लोगों का पैसा वापस उनके खातों में पहुंचाने का काम करे। हाल ही में सागर कलेक्टर दीपक सिंह ने सहारा ग्रुप की करीब 100 एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया है। इससे निवेशकों को 12 करोड़ रुपए की राशि वापस कराई जाएगी। बता दें कि निवेशकों ने राशि हड़पने की शिकायत कलेक्टर से की थी।
केवल जबलपुर में 11 करोड़ की ठगी
जबलपुर कलेक्टर कार्यालय से मंत्रालय पहुंची जानकारी के मुताबिक इस जिले में पिछले 6 साल में हजारों बेरोजगारों से 11 करोड़ रुपए की ठगी हो चुकी है। इसमें से एक जबलपुर बुक पब्लिकेशन नाम से चिटफंड कंपनी खोलकर जालसाजों ने जिले के 20 हजार से ज्यादा बेरोजगारों को पांच करोड़ रुपए से ज्यादा का चूना लगा दिया। प्रदेश में चिटफंड कंपनियों का जाल कितना पड़ा है, इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि केवल जबलपुर में पुलिस ने फर्जी तरीके से कारोबार करने वाली 30 कंपनियों की जानकारी जुटाई है।
किसान सबसे आसान शिकार
चिटफंड कंपनियों के एजेंट ग्रामीण क्षेत्रों में ज्यादा सक्रिय हैं। जो किसानों को आसानी से अपने जाल में फांस लेते हैं। मुख्यमंत्री की चिंता किसानों के साथ धोखाधड़ी होने काे लेकर भी है। मंत्रालय स्तर पर यह जानकारी भी जुटाई जा रही है कि ऐसी कितनी कंपनियां है जो ग्रामीण क्षेत्रों में सक्रिय हैं।
कानून व्यवस्था को लेकर होगी बात
मुख्यमंत्री कानून व्यवस्था की समीक्षा भी करेंगे। बैठक के लिए इसे अतिरिक्त एजेंडे में शामिल किया गया है। मुख्यमंत्री एसपी और आईजी से महिलाओं से जुड़े अपराधों को लेकर बात करेंगे। खासतौर पर महिलाओं के साथ होने वाले अपराध और बालिकाओं के अपहरण की घटनाओं पर कड़ी कार्यवाही के लिए अफसरों को कहा जाएगा।