मुख्यमंत्री की मंशा अनुरूप राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने में अग्रणी राज्य बने मध्यप्रदेश

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान की मंशा अनुरूप राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने में मध्यप्रदेश को अग्रणी राज्य बनाने के लिये प्रतिबद्ध होकर काम करना होगा। यह बात माध्यमिक शिक्षा मण्डल की अध्यक्ष और प्रमुख सचिव स्कूल शिक्षा श्रीमती रश्मि अरूण शमी ने कही। वे राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत ''बोर्ड रिफॉर्म्सएण्ड असेसमेंट'' विषय पर दो दिवसीय सेमीनार के शुभारंभ सत्र को सम्बोधित कर रही थी।

स्थानीय कुशाभाऊ ठाकरे इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर (मिन्टो हॉल) में हुए इस सेमीनार में विभिन्न राज्यों, केन्द्र एवं अनेक परीक्षा मंडलों के प्रतिनिधियों ने सहभागिता की। इनमें सी.बी.एस.ई., आई.सी.एस.ई., केम्ब्रिज, एन.सी.ई.आर.टी. एवं आई.बी.बोर्ड प्रमुख है।

प्रमुख सचिव श्रीमती शमी ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति में शिक्षा का नया परिदृश्य होगा। उसमें क्या आमूलचूल परिवर्तन लायें, जिससे बच्चों का समग्र विकास हो, इस पर गहन विचार-विमर्श करने की मंशा से यह सेमीनार किया गया है। पाठ्यक्रम में भी बदलाव लाने की प्रक्रिया चल रही है। नई नीति के तहत उद्देश्य यह है कि बच्चे एक साथ समस्या का समाधान करें। इसमें ग्रुप डिस्कशन को भी बढ़ावा दिया जायेगा। उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों के साथ इन्टरेक्टिव सेशन के साथ प्रोटेक्टिव सेमीनार के माध्यम से सफल निष्कर्ष पर पहुँचेंगे।

पाठ्य-पुस्तक स्थायी समिति के अध्यक्ष डाँ. प्रकाश बरतूनिया ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति के जरिये शिक्षा प्रणाली की बेहतर गुणवत्ता का काम चल रहा है। सेमीनार के माध्यम से आपसी विचार साझा कर सुधार एवं सुझाव भी दिये जायेंगे। साथ ही निष्कर्षों के संकलन को उच्च स्तर पर भेजा जायेगा। नई शिक्षा नीति में भारतीय संस्कृति और परम्पराओं के समावेश के साथ विद्यार्थी की रचनात्मकता का भी ध्यान रखा गया है।

माध्यमिक शिक्षा मण्डल की उपाध्यक्ष डाँ. रमा मिश्र ने राष्ट्रीय शिक्षा नीति की भूमिका बताई। उन्होंने कहा कि नीति को बेहतर तरिके से क्रियान्वित करना महत्वपूर्ण है। इस नीति में विद्यार्थी स्वयं का मूल्यांकन करेंगे और अभिभावकों की भी इसमें सहभागिता होगी।

सेमीनार में राज्यों द्वारा राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के प्रकाश में बोर्ड रिफॉर्म्स,दक्षता आधारित शिक्षा और आकलन, समग्र मूल्यांकन पर विमर्श, मौलिक रूप से आकलन पर पुनर्विचार और भावी कार्य-योजना जैसे विषयों पर अनेक सत्र आयोजित कर प्रस्तुतिकरण दिये गये।

कार्यक्रम में मंडल के सचिव श्री उमेश कुमार, राज्य शिक्षा केन्द्र संचालक श्री धनराजू एस., फीस विनियमन समिति के अध्यक्ष प्रो.रविन्द्र कान्हेरे उपस्थित थे। मंडल की अपर सचिव सुश्री शीला दाहिमा ने संचालन किया।

कल होगा समापन

सेमीनार का समापन सत्र-17 दिसम्बर को अपरान्ह 3.15 बजे होगा। स्कूल शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री इंदर सिंह परमार की उपस्थिति में सेमीनार की सार रिपोर्ट प्रस्तुत की जायेगी।